आचार्य रामगोपाल दीक्षित के दिशानिर्देश में सम्पन्न हुआ वेलनेस न्यूरोपैथी शिविर
तावडू.03 सितंबर।
जितेन्द्र कुमार.
आपको बता दें की कामधेनु आरोग्य संस्थान प्रबंधन समिति द्वारा तावडू के ग्राम बिस्सर अकबरपुर में करोड़ो की लागत से आरोग्य संस्थान का निर्माण किया गया हैं जिसके अवलोकन कार्यक्रम 27 अगस्त को मुख्य अतिथि के तौर पर डॉक्टर अरविन्द शर्मा लोकसभा सांसद रोहतक, स्वामी चिन्मयानंद महाराज, न्यूरोपैथी शिविर के आयोजक एवं आरोग्य पीठ दिल्ली के संस्थापक आचार्य राम गोपाल दीक्षित व सीए मधुर अग्रवाल के अलावा पूर्व उद्योग मंत्री विपुल गोयल और संस्थान के संस्थापक डॉक्टर एसपी गुप्ता एवं संस्थान के उपाध्यक्ष प्रियंक गुप्ता प्रमुख रूप से मौजूद रहे।
वेलनेस न्यूरोपैथी शिविर के आयोजक आचार्य राम गोपाल दीक्षित ने कामधेनु संस्थान के सभी कार्यकारी सदस्यों एवं समिति का आभार व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा संस्थान की अध्यक्ष शशि गुप्ता जी के सञ्चालन में यह संसथान आज इतना बेहतर काम कर रहा है उसके लिए बधाई भी दी। उन्होंने कहा कि वेलनेस न्यूरोथेरेपी भारत का प्राचीन विज्ञानं है, जिसे हमारे ऋषि मुनि सदियों से राजा महाराजाओ के उपचार के लिये इस्तेमाल करते थे । हर युग में इस ज्ञान और विज्ञान का अत्यंत ही महत्व रहा है। श्री लाजपत राइ महरा के आज के नुरोपैथी में रहे योगदान हेतु उनको स्मरण कर उन्हें नमन भी किया। उन्होंने बताया की उन्होंने कैसे नुरोपैथी से शरीर के सभी रोगों को ठीक करने के लिए असंतुलित शरीर के ढाँचे एवं एसिड इल्क़ालाइन आदि सभी कैमिकल को बैलेंस किया जाता है । बिना दबा , बिना दर्द, बिना मशीन एवं बिना किसी कु प्रभाव के ला-इलाज रोगों का कभी भी एवं कहीं भी उपचार करने वाली अद्भुत चिकित्सा पद्धति है । प्राचीन काल की नुरोपैथी का उदहारण देने के लिए, उन्होंने भगवन कृष्ण और एक बुज़ुर्ग महिला कुब्जा की कथा का उदाहरण देते हुए बताया की कैसे भगवन श्री कृष्ण ने उन बुज़ुर्ग महिला को जिन्हे बैम्बू स्पाइन की समस्या से मुक्त किया था। यह अद्भुत चमत्कारी है जो शरीर के ढाँचे और शरीर के रसायनों को भी ठीक करता है । उन्होंने बताया कि यह सरकारी मान्यता प्राप्त होने के कारण आरोग्य पीठ के माध्यम से सीखे देश के हज़ारों बेरोज़गार युवक एवं युवतियों के जीवन में एक आशा की किरण बन चुकी है । युवक युवतियों में इस को सीखने से एक अच्छा कैरियर बन रहा है । वेलनेस न्यूरोथेरेपी के शोर्ट टर्म एवं लौंग टर्म ट्रेनिंग कोर्स की जानकारी देते हुए उन्होंने कहा कि ऑनलाइन एवं ऑफलाइन दोनों प्रकार से इसे सीखा जा सकता है और इस से काम शुरू करने मैं कोई ख़ास लागत एवं पैसा भी नहीं खर्च करना पड़ता । आज घर घर में बीमारियां है उन का इलाज करके घर का पैसा भी बचाया जा सकता है । आज लाखों लोग उनके यूट्यूब चैनल पर छोटे छोटे नुश्ख़े देख स्वयं को बिना दवा एवं खर्च के ठीक कर पा रहे है ।विश्वविद्यालय के 4.5 साल के डिग्री कोर्स के बारे में बतातै हुए उन्होंने कहा शून्य लागत वाला यह एक ऐसा करियर है जहाँ अच्छा पैसा , मान सम्मान एवं आत्म संतोष एक साथ तुरंत मिलते है। आज देश व दुनियाँ में इसके सीखे लाखों चिकित्सकों की भारी माँग है । ट्रीटमेंट कैंप में लगभग 50 से अधिक घुटना कमर गर्दन एवं जोड़ों के दर्द वाले रोगियों का सफल इलाज किया गया।
चंद्रयान की सफल लैंडिंग का ज़िक्र करते हुए कहा की जब कभी चन्द्रमा पर भी लोग बसेंगे तब वहाँ भी नुरोपैथी की ज़रूरत सबसे ज़्यादा पड़ेगी। क्योंकि इस में कैसा भी अतारिक्त समान का उपयोग नहीं होता और हर बीमारी में तत्काल परिणाम देती है इस लिए न्यूरोपैथी के ज़रिये शरीर के हर अंग में पनप रही अंधरुनि समस्या का पता लगा कर उसे दुरुस्त किया जा सकता है।
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